आखिर क्यों अपनी ही बेटी को 20 साल कैद में रखा औरंगजेब, जानिए उसकी क्रूरता की दास्तान

मुगल बादशाह औरंगजेब की जिंदगी के कई ऐसे किस्से हैं, जो लोगों को हैरान कर देते हैं. औरंगजेब को इतिहास का सबसे सख्त और कट्टर शासक माना जाता था.

सत्ता के लिए औरंगजेब ने अपने भाईयों की हत्या कर दी और अपने पिता शाहजहां को भी कैद कर लिया.

लेकिन क्या आप जानते हैं कि उसने अपनी बेटी जेबुन्निसा को भी लगभग 20 साल कैद में रखा था. आइए जानते हैं इसके पीछे की वजह...

बता दें कि जेबुन्निसा औरंगजेब की सबसे बड़ी थी. उनका जन्म 15 फरवरी 1638 को हुआ था.  जेबुन्निसा बचपन से ही काफी बुद्धिमान थी और पढ़ाई-लिखाई में रुचि रखती थी.

जेबुन्निसा को अरबी और फारसी की गहरी समझ थी. वो महज 7 वर्ष की उम्र में हाफ़िज़ (क़ुरान की ज्ञाता) बन गईं.

जिसके कारण औरंगजेब उन्हें बहुत सम्मान देता था, लेकिन जैसे-जैसे जेबुन्निसा की रुचि साहित्य, सूफी विचारों और अन्य धर्मों की शिक्षाओं में बढ़ने लगी. वैसे-वैसे औरंगजेब की नाराजगी भी बढ़ती गई.

कहा जाता है कि ज़ेबुन्निसा पिता की कठोर धार्मिक नीतियों से असहमत थी. उन्होंने कई बार अपने पिता के फैसलों का विरोध भी किया

ज़ेबुन्निसा का झुकाव दाराशिकोह की सूफी विचारधारा की ओर था, जिससे औरंगजेब काफी नाराज था.

कहा जाता है कि ज़ेबुन्निसा को युवा राजकुमार अकरम खान से प्यार हो गया था, जिसके कारण औरंगजेब ने उन्हें दिल्ली के सलीमगढ़ किले में कैद कर दिया.

ज़ेबुन्निसा किले की चारदीवारी में 20 साल तक कैद रहीं. उन्होंने वहीं अपनी अंतिम सांस ली और उन्हें गुमनाम तरीके से दफनाया गया.