Bitcoin: बिटकॉइन जनवरी के रिकॉर्ड को तोड़ते हुए नया ऑल टाइम हाई पर पहुंच गया है. पिछले बार ये रिकॉर्ड बिटकॉइन ने जनवरी में बनाया था. Coin Metrics के अनुसार, बिटकॉइन की कीमत 2 प्रतिशत से ज्यादा बढ़कर 111,399 डॉलर पर पहुंच गई. हालांकि, एक समय ऐसा भी आया था जब बॉन्ड यील्ड में तेजी और स्टॉक मार्केट में गिरावट के चलते बिटकॉइन ने अपने लाभ को खो दिया. आइए जानते हैं इससे पहले बिटकॉइन क्यों गिर रहा था और अब इसे किन बातों का सपोर्ट मिल रहा है.
बिटकॉइन में तेजी का कारण
एक वक्त था जब बॉन्ड यील्ड में तेजी की वजह से स्टॉक मार्केट में गिरावट के वजह से बिटकॉइन ने अपने प्रॉफिट को खो दिया था. लेकिन इसके पीछे तेजी का कारण मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, क्रिप्टो एक्सचेंज Nexo के सह-संस्थापक एंटोनी ट्रेंचव ने ये बताया कि बिटकॉइन की नई ऊंचाई कई मैक्रो फैक्टर्स का परिणाम है. इसमें जैसे कि अमेरिका में कमजोर महंगाई के आंकड़े, अमेरिका और चीन ट्रेड वॉर में नरमी, अमेरिका की मूडीज द्वारा क्रेडिट रेटिंग को घटाना. इन सब वजहों से निवेशकों ने बिटकॉइन में निवेश के ऑप्शन को चुना.
मई में अब तक इतना की बढ़ोतरी
बता दें, मई में अब तक बिटकॉइन कुल 15 प्रतिशत तक का इजाफा दर्ज किया गया है. ETF (Exchange-Traded Funds) जो बिटकॉइन को ट्रैक करते हैं उनमें $40 बिलियन से ज्यादा का निवेश हो चुका है. इतना ही नहीं में केवल दो दिन ही इनमें पैसा निकाला गया है. स्टॉक मार्केट में उतार-चढ़ाव और टैरिफ से जुड़ी वजहों के वजह से बिटकॉइन और सोने में निवेश जैसे ऑप्शन को निवेशकों ने चुना ताकि उनको फायदा मिल सके.
निवेशकों के बीच एक विकल्प बन कर उभरा
इस समय निवेशकों को उम्मीद है कि रेगुलेटरी बदलाव और कॉर्पोरेट निवेश बिटकॉइन को और बढ़ा सकते हैं. बता दें, 2025 की शुरुआत से अब तक पब्लिक कंपनियों द्वारा होल्ड किए गए बिटकॉइन में 31 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है, जिसकी कुल वैल्यू करीब $349 बिलियन तक पहुंच गई है. ये कुल बिटकॉइन सप्लाई का 15 फीसदी है. इसलिए बिटकॉइन एक बार फिर निवेशकों के बीच चर्चा में है और 2025 में एक विकल्प बन कर उभरा है.
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