Windfall Tax: कच्चे तेल पर विंडफॉल टैक्स घटाकर शून्य, नई दरें आज से लागू

Raginee Rai
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)

Windfall Tax:  भारत में कच्‍चे तेल को रिफाइन कर विदेशों में निर्यात करने वाली कंपनियों के लिए अच्‍छी खबर है. अब कंपनियों को तेल निर्यात करने पर ज्‍यादा टैक्‍स नहीं भरना होगा और कमाई भी ज्‍यादा होगी. दरअसल, सरकार ने घरेलू स्‍तर पर उत्‍पादित कच्‍चे तेल के लिए अप्रत्‍याशित लाभ कर यानी  विंडफॉल टैक्स  (Windfall Tax) को घटाकर जीरो कर दिया है. कर की नई दर बुधवार, 18 सितंबर यानी आज से लागूं हो जाएगी. सरकार ने इसे लेकर मंगलवार को एक नोटिफिकेशन भी जारी किया है. जानकारी के मुताबिक कच्चे तेल की कीमत में गिरावट के चलते सरकार की ओर से ये फैसला लिया गया है. इससे पहले सरकार ने महीने की शुरुआत में भी विंडफॉल टैक्स को कम कर ऐसी कंपनियों को बड़ी राहत दी थी.

विशेष अतिरिक्त उत्पाद शुल्क के रूप में लगाया जाता है विंडफॉल टैक्स

जानकारी दें कि कच्चे तेल पर ये कर विशेष अतिरिक्त उत्पाद शुल्क (SAED) के तौर पर लगाया जाता है. दो हफ्ते में औसत तेल की कीमतों के आधार पर हर 15 दिनों में इसे अधिसूचित किया जाता है. इससे पहले, 31 अगस्त को संशोधन प्रभावी हुआ था. उस समय सरकार ने कच्चे पेट्रोलियम पर अप्रत्याशित लाभ कर 2100 रुपये प्रति टन से कमकर 1850 रुपये प्रति टन तय किया था.

डीजल, पेट्रोल और एविएशन टर्बाइन फ्यूल के निर्यात पर जीरो विंडफॉल टैक्स

भारत सरकार ने विंडफॉल टैक्स जीरो करने का फैसला कच्चे तेल की कीमतों में आई बड़ी गिरावट के बाद की है. ग्लोबल बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड की कीमतें अप्रैल के 92 डॉलर प्रति बैरल से कम होकर 75 डॉलर प्रति बैरल से नीचे आ गई हैं.

एक ऑफिशियल नोटिफिकेशन के मुताबिक,डीजल, पेट्रोल और एविएशन टर्बाइन फ्यूल (एटीएफ) के निर्यात पर SAED को 1850 रुपये प्रति टन से घटाकर जीरो कर दिया गया है. बता दें कि देश में पहली बार 1 जुलाई, 2022 को कच्चे तेल पर विंडफॉल टैक्स लगाया गया था. साथ ही भारत उन देशों में शामिल हो गया था जो एनर्जी कंपनियों को अप्रत्याशित रूप से होने वाले लाभ पर टैक्स लगाते हैं.

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