बाढ़ का खतरा टलने के बाद बीमारियों का बढ़ा प्रकोप, राहत कैंपों में तैनात की गई मेडिकल टीमें

Noida Flood : नोएडा में लगातार बढ़ रहे यमुना का जलस्‍तर अब धीरे-धीरे उतरने लगा है. लेकिन बता दें कि बीमारियों का खतरा बढ़ने लगा है. ऐसे में बाढ़ से प्रभावित से लोग और जलस्‍तर घटने के बाद बड़ी संख्या में अब जिला अस्पताल और स्वास्थ्य शिविरों में पहुंच रहे हैं. इस दौरान लगातार मलेरिया, डेंगू, त्वचा रोग और बुखार जैसी बीमारियों के मरीज सामने आ रहे हैं.

यमुना किनारे कैंपों में मेडिकल टीम तैनात

प्राप्‍त जानकारी के अनुसार लोगों को राहत देने के लिए स्वास्थ्य विभाग ने यमुना किनारे बने राहत कैंपों में विशेष मेडिकल टीमों को तैनात किया है. इन टीमों के दौरान लोगों की जांच की जा रही है और मुफ्त में इलाज किया जा रहा है. इस मामले को लेकर मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ. नरेंद्र सिंह ने जानकारी दी कि बाढ़ के दौरान पहले ही 12 स्वास्थ्य चौकियां स्थापित कर दी गई थीं. अब पानी उतरने के बाद भी विभाग पूरी सतर्कता के साथ काम कर रहा है.

बीमारियों को फैलने से रोकने के लिए निरंतर प्रयासरत

ऐसे में सीएमओ का कहना है कि “स्‍वास्‍थ्‍य को लेकर हमारी मेडिकल टीमें लगातार निगरानी कर रही हैं. इस दौरान स्‍वास्‍थ्‍य को लेकर किसी भी प्रकार की कोई समस्‍या होती है तो स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह तैयार है और बीमारियों को फैलने से रोकने के लिए निरंतर प्रयासरत है.”

सीएमओ ने दी जानकारी

जानकारी के मुताबिक, ऐसा पहली बार नही हुआ है क्‍योंकि हर साल सितंबर और अक्टूबर के महीनों में मलेरिया और डेंगू के मामलों में बढ़ोतरी होती है. ऐसे में इस बार भी बाढ़ के पानी के कारण मच्छरों के प्रजनन की संभावना अधिक बढ़ गई है. ऐसे में इस बीमारियों को लेकर सीएमओ ने जानकारी दी कि जनवरी से अब तक कुल 189 डेंगू के मामले दर्ज हुए हैं, जिनमें से फिलहाल केवल 14 सक्रिय मरीज हैं और इनका इलाज जारी है.

विभाग ने जारी की 188 नोटिस

बता दें कि इन बीमारियों की रोकथाम के लिए स्वास्थ्य विभाग ने कुल 21 टीमें गठित की हैं. जिनमें 16 ‘ऑपरेशन मच्छर’ टीम, 4 ब्लॉक स्तर की टीम और एक जिला स्तरीय रिस्पॉन्स टीम शामिल है. इस मामले को लेकर विभाग ने अब तक 188 नोटिस भी जारी किए गए हैं, जिनमें स्वच्छता और मच्छरजनित रोगों की रोकथाम को लेकर लोगों को सचेत किया गया है.

सुरक्षा को लेकर किए जा रहे हर संभव प्रयास

लोगों का कहना है कि बाढ़ का पानी भले ही घट रहा हो, लेकिन अब सबसे बड़ी चुनौती बीमारियों के संक्रमण को रोकना है. ऐसे में स्वास्थ्य विभाग ने दावा करते हुए कहा कि उनकी सभी टीमें चौकस हैं और जनस्वास्थ्य को सुरक्षित रखने के लिए हर संभव कदम उठाए जा रहे हैं.

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