Indonesia: इंडोनेशिया में भारतीय रक्षा अताशे द्वारा ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के संबंध में दिए गए बयान पर उठे विवाद के बाद दूतावास ने एक बयान जारी किया है. भारतीय दूतावास ने साफ कर दिया है कि मीडिया रिपोर्ट में रक्षा अताशे के बयान को गलत तरीके से कोट किया गया है.
दरअसल, रक्षा अताशे ने कहा था कि ऑपरेशन सिंदूर के शुरुआती चरण में भारतीय वायुसेना को नुकसान हुआ था. ऐसा इसलिए हुआ था क्योंकि भारतीय वायुसेना को पाकिस्तान के सैन्य प्रतिष्ठानों पर हमला न करने और केवल आतंकी ठिकानों को ही निशाना बनाने का निर्देश दिया गया था. भारतीय रक्षा अताशे के इस बयान पर कांग्रेस पार्टी ने सरकार पर निशाना साधा था.
जानें क्या था रक्षा अताशे का पूरा बयान
दरअसल, भारतीय नेवी अधिकारी कैप्टन शिवकुमार ने इंडोनेशिया के जकार्ता की एक यूनिवर्सिटी में एक कार्यक्रम को संबोधित किया था. इस दौरान उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर को लेकर कहा, “हमने कुछ विमान खो दिए और ऐसा केवल राजनीतिक नेतृत्व द्वारा सैन्य ठिकानों या उनके एयर डिफेंस सिस्टम पर हमला न करने की बाध्यता के कारण हुआ. लेकिन, नुकसान के बाद हमने अपना तरीका बदला और हमने सैन्य ठिकानों (पाकिस्तान के) पर हमला किया.
उन्होंने कहा कि हम सबसे पहले दुश्मन के वायु रक्षा प्रणाली को तबाह करने में सफल रहे और यही वजह है कि हमारे सभी हमले सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलों और सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलों का उपयोग करके आसानी से किये जा सके. भारतीय अधिकारी के इस बयान के बाद कांग्रेस ने सरकार पर इस मामले में देश को गुमराह करने का आरोप लगाया.
We have seen media reports regarding a presentation made by the Defence Attache at a Seminar.
His remarks have been quoted out of context and the media reports are a mis-representation of the intention and thrust of the presentation made by the speaker.
The presentation…
— India in Indonesia (@IndianEmbJkt) June 29, 2025
भारतीय दूतावास ने कहा…
इंडोनेशिया में भारतीय दूतावास ने अपने आधिकारिक एक्स हैंडल पर किए गए ट्वीट में कहा, “हमने एक सेमिनार में रक्षा अताशे द्वारा दिए गए प्रेजेंटेशन के बारे में मीडिया रिपोर्ट देखी हैं. उनके बयान को गलत संदर्भ में कोट किया गया है. मीडिया रिपोर्ट उनके बयान के इरादे को गलत तरीके से दिखा रही हैं. रक्षा अताशे के प्रेजेंटेशन में बताया गया है कि भारतीय सशस्त्र बल हमारे पड़ोस के कुछ अन्य देशों के विपरीत राजनीतिक नेतृत्व के तहत काम करते हैं. यह भी बताया गया है कि ऑपरेशन सिंदूर का उद्देश्य आतंकवाद के बुनियादी ढांचे को टारगेट करना था. भारत की प्रतिक्रिया उकसावे वाली नहीं थी.
कौन होते हैं रक्षा अताशे?
बता दें कि रक्षा अताशे (Defense Attaché) एक सैन्य अधिकारी होता है जिसे सरकार द्वारा किसी दूतावास में नियुक्त किया जाता है. रक्षा अताशे अपने देश के रक्षा हितों, सैन्य सहयोग और सुरक्षा संबंधी मामलों प्रतिनिधित्व करता है. रक्षा अताशे राजनयिक के रूप में मान्यता प्राप्त होते हैं और उनके पास राजनयिक विशेषाधिकार होते हैं.
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