93 प्रतिशत भारतीय कंपनियों का मानना है कि अगले तीन वर्षों में उनके AI निवेश से उन्हें सकारात्मक रिटर्न मिलेगा, जो कि सर्वे किए गए सभी देशों में सबसे उच्च आत्मविश्वास स्तर को दर्शाता है. सोमवार को जारी एक रिपोर्ट में यह जानकारी सामने आई. जर्मन मल्टीनेशनल सॉफ्टवेयर कंपनी SAP की रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय कंपनियों ने 2025 के लिए अपने AI निवेश से औसतन 15 प्रतिशत रिटर्न की उम्मीद जताई है और उनका अनुमान है कि आगामी दो वर्षों में यह रिटर्न 31 प्रतिशत तक पहुंच जाएगा.
भारतीय व्यवसाय AI में 31 मिलियन डॉलर का कर रहे निवेश
भारतीय व्यवसाय इस वर्ष AI में 31 मिलियन डॉलर का निवेश कर रहे हैं, जो कि 26.7 मिलियन डॉलर के वैश्विक औसत से अधिक है. कंपनियां मुख्य रूप से सॉफ्टवेयर, इंफ्रास्ट्रक्चर, टैलेंट और कंसल्टिंग पर ध्यान केंद्रित कर रही हैं. रिपोर्ट के अनुसार, अगले दो वर्षों में AI में निवेश औसतन 33% से अधिक बढ़ने का अनुमान है, जिससे इस वर्ष 15% ROI प्राप्त होगा. एसएपी एसई के चीफ टेक्नोलॉजी ऑफिसर, फिलिप हर्जिग ने कहा, व्यवसायों के काम करने के तरीके को एआई पूरी तरह से बदल रहा है, न केवल टास्क को ऑटोमेटेड बनाने के साथ बल्कि यह मिशन-क्रिटिकल प्रॉसेस में स्मार्टर, फास्टर निर्णयों को भी लेने में सुविधा प्रदान कर रहा है.
56% भारतीय रेस्पॉन्डेंट वर्तमान ROI से संतुष्ट
56% भारतीय रेस्पॉन्डेंट वर्तमान ROI से संतुष्ट हैं, जबकि 58% का मानना है कि AI पहलें अन्य टेक्नोलॉजी निवेशों की तुलना में तेज़ पॉजिटिव ROI प्रदान करेंगी. एसएपी लैब्स इंडिया की एमडी और हेड, सिंधु गंगाधरन, के अनुसार, 6 लाख से अधिक प्रोफेशनल्स के साथ भारत ग्लोबल AI टैलेंट पूल में 16% का योगदान देता है, जो देश को एक सशक्त AI पावरहाउस बनाता है. उन्होंने कहा, डिजिटल टैलेंट की यह गहराई उद्यमों को पायलेट से परफॉर्मेंस में शिफ्ट करने में सक्षम बना रही हैं, जिसके साथ एआई को निर्णयों, ऑपरेशन और कस्टमर एक्सपीरियंस में एम्बेड किया जा रहा है. यह रिपोर्ट 8 देशों के 1600 सीनियर लीडर्स के सर्वे पर आधारित है, जिसमें 200 रेस्पॉन्डेंट्स भारत से थे.