Indian IT Sector Growth: एचएसबीसी ग्लोबल इन्वेस्टमेंट रिसर्च (HSBC Global Investment Research) की हालिया रिपोर्ट के अनुसार, वैश्विक स्तर पर जारी आर्थिक अनिश्चितताओं के बावजूद भारतीय आईटी सेक्टर (Indian IT Sector) में धीरे-धीरे सुधार देखने को मिल रहा है.
रिपोर्ट में अनुमान जताया गया है कि FY26-27 तक यह क्षेत्र 6 से 7% की वृद्धि दर्ज कर सकता है. मध्यम और दीर्घकालिक नजरिए से देखें तो भारतीय आईटी उद्योग (Indian IT Industry) के लिए स्थिर मुद्रा में 3 से 5% की कंपाउंड एनुअल ग्रोथ रेट की संभावना जताई गई है.
Indian IT Sector FY 27 में 6-7% की वृद्धि कर सकता है दर्ज
यह अनुमान उन संकेतों पर आधारित है जो शीर्ष अमेरिकी कंपनियों के हालिया तिमाही नतीजों से सामने आए हैं— जो कि भारतीय आईटी सेक्टर के प्रमुख ग्राहक भी हैं. रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि भले ही इन कंपनियों ने अच्छा वित्तीय प्रदर्शन किया है, लेकिन व्यापारिक माहौल को लेकर अभी भी कुछ अनिश्चितता बनी हुई है.
खासतौर पर टैरिफ से जुड़ी अनिश्चितताएं और कंपनियों द्वारा नए निवेशों को टालना इसके प्रमुख कारण हैं. एचएसबीसी ग्लोबल इन्वेस्टमेंट रिसर्च (HSBC Global Investment Research) ने गुरुवार को कहा कि वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच खर्च में कुछ सुधार के कारण भारतीय आईटी सेक्टर FY 27 में 6-7% की वृद्धि दर्ज कर सकता है.
भारतीय IT उद्योग के लिए 3-5% CAGR की जताई गई उम्मीद
मध्यम से दीर्घावधि में, रिपोर्ट में स्थिर मुद्रा में भारतीय आईटी उद्योग के लिए 3-5% चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर (CAGR) की उम्मीद जताई गई है. रिपोर्ट में कहा गया है, टॉप अमेरिकी कंपनियों (Indian IT clients) के हालिया वित्तीय परिणाम एक बहुत ही मजबूत कारोबारी माहौल को दर्शाते हैं.
निष्कर्षों के मुताबिक, हमारा मानना है कि इनमें से कई कॉर्पोरेट ग्राहक अच्छे वित्तीय प्रदर्शन के बावजूद टैरिफ अनिश्चितता और कंपनियों द्वारा निवेश रोके जाने के कारण वृहद परिवेश को लेकर अनिश्चित हैं. रिपोर्ट में कहा गया है, जैसे-जैसे कारोबारी माहौल में विश्वास बढ़ रहा है, हमें खर्च में कुछ सुधार की उम्मीद है और इसलिए FY27 में भारतीय आईटी के लिए 6-7% की वृद्धि का अनुमान अभी भी काफी संभव है.
भारतीय IT सेक्टर की कमाई का बड़ा हिस्सा करीब दो-तिहाई
भारतीय आईटी सेक्टर की कमाई का बड़ा हिस्सा करीब दो-तिहाई — एप्लिकेशन डेवलपमेंट, मेंटेनेंस और टेस्टिंग जैसी सेवाओं से आता है. बीते कुछ वर्षों में इस क्षेत्र की उत्पादकता में लगातार सुधार देखने को मिला है. रिपोर्ट के मुताबिक, क्लाउड माइग्रेशन के चलते पिछले दो से तीन वर्षों में बेहतर परिणाम सामने आए हैं.
जैसे-जैसे पुराने, भारी रखरखाव वाले एप्लिकेशन को माइक्रो-सर्विसेस में बदला गया और क्लाउड पर शिफ्ट किया गया, मेंटेनेंस संबंधी काम में कमी आई है. वहीं, हाल के महीनों में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के कारण डेवलपमेंट कॉस्ट में बदलाव देखने को मिला है.
वृद्धिशील राजस्व वृद्धि पिछले वर्षों के अनुरूप
हमारा मानना है कि अगले दो-तीन वर्षों में इस प्रवृत्ति में कोई खास बदलाव होने की संभावना नहीं है. ग्लोबल आईटी खर्च में भारतीय आईटी का हिस्सा अब काफी महत्वपूर्ण है (राजस्व में करीब 20% और मात्रा में 35-40%) और उसी गति से बढ़ना मुश्किल है.
वृद्धिशील राजस्व वृद्धि पिछले वर्षों के अनुरूप है. रिपोर्ट में कहा गया है, सूचीबद्ध बड़ी कंपनियों के नजरिए से, जीसीसी (Global Capability Centers) का प्रभाव संरचनात्मक रहा है और इसके उलट होने की संभावना कम है. हालांकि, हम जीसीसी में वृद्धि में कुछ नरमी देख रहे हैं, लेकिन इस चक्र के उलट होने की संभावना कम है.
मांग में कुछ तेजी आएगी
रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिकी कंपनियों के मजबूत नतीजों के साथ हमें उम्मीद है कि मांग में कुछ तेजी आएगी, क्योंकि कंपनियों को प्रतिस्पर्धी बने रहने के लिए तकनीक में निवेश जारी रखना होगा. इसलिए, हमारा मानना है कि FY27 6-7% की वृद्धि दर में सुधार अभी भी संभव है.
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