एशियाई विकास बैंक (ADB) ने मंगलवार को जारी अपने ताजा अनुमान में कहा है कि भारत की आर्थिक वृद्धि दर वित्त वर्ष 2025-26 (FY26) और 2026-27 (FY27) में 6.5% के स्तर पर बनी रह सकती है. एडीबी ने एशिया और प्रशांत क्षेत्र की विकासशील अर्थव्यवस्थाओं के लिए विकास दर के अनुमान में मामूली कटौती की है, जो अब 0.1% से 0.2% कम आंकी गई है. इसकी वजह टैरिफ के कारण वैश्विक अर्थव्यवस्था में उतार-चढ़ाव आना है.
2025 की पहली छमाही में 7.6% की दर से बढ़ी थी भारत की अर्थव्यवस्था
एडीबी ने बयान में कहा कि भारत की अर्थव्यवस्था 2025 की पहली छमाही में 7.6% की दर से बढ़ी थी. इसकी वजह मजबूत सरकारी पूंजीगत खर्च था, जिनके निर्यात और मांग में कमी की भरपाई की है। रिपोर्ट में कहा गया, भारत में औद्योगिक विकास में भी सुधार हुआ है, मैन्युफैक्चरिंग और कंस्ट्रक्शन सेक्टर ने अच्छा प्रदर्शन किया है, जिससे खनन और यूटिलिटी सेक्टर में गिरावट की भरपाई हो गई है.
भारत और पूरे आसियान क्षेत्र की अर्थव्यवस्थाओं में विनिर्माण गतिविधियां मजबूत
एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) के अनुसार, भारत और पूरे आसियान क्षेत्र की अर्थव्यवस्थाओं में विनिर्माण (मैन्युफैक्चरिंग) गतिविधियां मजबूत बनी हुई हैं. भारत में सेवा क्षेत्र का पीएमआई भी उच्च स्तर पर बना हुआ है, जिसका प्रमुख कारण यात्रा और मनोरंजन सेवाओं की बढ़ती मांग है. रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि भारत, जो विश्व का सबसे बड़ा चावल निर्यातक है, वहाँ अनुकूल मौसमी हालात और रिकॉर्ड स्तर की फसल के कारण चावल की कीमतों में गिरावट आने की संभावना है. हालांकि, अमेरिका द्वारा लगाए गए उच्च टैरिफ और बढ़ती वैश्विक व्यापार अस्थिरता से क्षेत्रीय आर्थिक विकास पर नकारात्मक प्रभाव पड़ने का खतरा बना हुआ है.
अगले वर्ष खाद्य कीमतों के सामान्य होने पर मामूली वृद्धि
खाद्य और ऊर्जा की कम कीमतों के बीच इस वर्ष मुद्रास्फीति घटकर 1.7% रह जाएगी और अगले वर्ष खाद्य कीमतों के सामान्य होने पर मामूली वृद्धि के साथ यह 2.1% हो जाएगी. एडीबी के मुताबिक भारत में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई) मुद्रास्फीति अगस्त में 2.07% रही, जो एक वर्ष पहले दर्ज की गई 3.7% की तुलना में काफी कम है. इस दौरान खाद्य कीमतों में लगातार तीसरे महीने गिरावट जारी रही और सालाना आधार पर 0.7% की कमी दर्ज की गई, जिसका मुख्य कारण सब्जियों, दालों और मसालों की कम लागत है.
एडीबी के मुख्य अर्थशास्त्री अल्बर्ट पार्क ने क्या कहा ?
एडीबी के मुख्य अर्थशास्त्री अल्बर्ट पार्क ने कहा, अमेरिकी टैरिफ ऐतिहासिक रूप से उच्च दरों पर स्थिर हो गए हैं और वैश्विक व्यापार अनिश्चितता उच्च स्तर पर बनी हुई है. उन्होंने आगे कहा, मजबूत निर्यात और मजबूत घरेलू मांग की बदौलत इस साल विकासशील एशिया और प्रशांत क्षेत्र में विकास दर मजबूत बनी हुई है, लेकिन बिगड़ते बाहरी माहौल का भविष्य पर असर पड़ रहा है. नए वैश्विक व्यापार माहौल के बीच, सरकारों के लिए मजबूत व्यापक आर्थिक प्रबंधन, खुलेपन और क्षेत्रीय एकीकरण को बढ़ावा देना जारी रखना बेहद जरूरी है.