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The Printlines (Part of Bharat Express News Network)
भारत का मानव-निर्मित फाइबर और तकनीकी टेक्सटाइल का निर्यात वित्त वर्ष 2024-25 में क्रमशः 6.5% 15% बढ़ा है. यह संकेत करता है कि देश का टेक्सटाइल सेक्टर तेज़ी से विकास कर रहा है. यह जानकारी केंद्रीय टेक्सटाइल और विदेश राज्य मंत्री पबित्रा मार्गेरिटा ने साझा की.
उन्होंने आगे कहा, हमारा लक्ष्य विकसित भारत 2047 विजन के तहत देश के टेक्सटाइल निर्यात को 2030 तक 100 अरब डॉलर और देश के टेक्सटाइल मार्केट को 350 अरब डॉलर का बनाना है. साथ ही कहा कि वैश्विक बाजार में मांग तेजी से बढ़ रही है और भारत अंतरराष्ट्रीय बाजार में एक बड़ी हिस्सेदारी के लिए तैयार है.
भारत हाई-क्वालिटी उत्पादों के जरिए वैश्विक स्तर पर अपनी जगह बनाने में कामयाब हो रहा है और दुनिया के बड़े टेक्सटाइल आयातकों के लिए एक विश्वसनीय साझेदार के रूप में उभर रहा है. मार्गेरिटा ने मुंबई में मैनमेड एंड टेक्निकल टेक्सटाइल्स एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल (MATEXIL) के 2023–24 और 2024–25 के एक्सपोर्ट अवॉर्ड फंक्शन को संबोधित करते हुए कहा, “टेक्सटाइल की ग्लोबल डिमांड अब तक के सबसे उच्चतम स्तर पर है और दुनिया तेजी से हाई-परफॉर्मेंस, फंक्शनल और सस्टेनेबल मटीरियल की तरफ जा रही है.
भारत इस बदलाव का जवाब मजबूती और कॉन्फिडेंस के साथ दे रहा है. केंद्रीय मंत्री ने टेक्निकल टेक्सटाइल में एक्सपोर्ट एक्सीलेंस के लिए अवॉर्ड दिए। इस सेक्टर के करीब 80 बेहतरीन परफॉर्मर्स को अलग-अलग कैटेगरी में सम्मानित किया गया. मार्गेरिटा ने कहा कि यह सेलिब्रेशन सिर्फ विजेताओं को पहचानने के बारे में नहीं था, बल्कि हर उस वर्कर, इंजीनियर, डिजाइनर, एंटरप्रेन्योर और एक्सपोर्टर को भी पहचान देने के बारे में था जो टेक्सटाइल सेक्टर को आगे बढ़ाते हैं. उन्होंने कहा, “आपका काम लाखों परिवारों को ताकत देता है और हमारे देश को गर्व देता है.”
केंद्रीय मंत्री के अनुसार, भारत मानव निर्मित फाइबर और तकनीकी टेक्सटाइल के क्षेत्र में सस्टेनेबल और एडवांस्ड मटीरियल की दिशा में वैश्विक बदलाव में सबसे आगे है. टेक्सटाइल मंत्रालय ने प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (PLI) स्कीम और नेशनल टेक्निकल टेक्सटाइल मिशन जैसी पहलें लागू की हैं, जो वैल्यू चेन के हर स्तर पर क्षमताओं को बढ़ा रही हैं.