कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय की सूचना के अनुसार, 5 दिसंबर तक चालू शीत ऋतु में रबी फसलों की बुआई का कुल क्षेत्रफल 479 लाख हेक्टेयर से अधिक पहुंच गया है. यह पिछले वर्ष की समान अवधि में 451.12 लाख हेक्टेयर के मुकाबले 27.89 लाख हेक्टेयर अधिक है. इसके अतिरिक्त, आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक FY25-26 में गेहूं की खेती 241.4 लाख हेक्टेयर, चावल की 10.98 लाख हेक्टेयर और दलहन की 106.21 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में की जा चुकी है. वहीं, पिछले वर्ष इसी अवधि में गेहूं, चावल और दलहन की खेती का क्षेत्रफल क्रमशः 217.81 लाख, 9.86 लाख और 105.78 लाख हेक्टेयर था.
तिलहन के लिए 84.14 लाख हेक्टेयर रहा बुआई का क्षेत्र
जहां एक ओर श्री अन्ना एवं मोटे अनाज के तहत 5 दिसंबर तक 36.28 लाख हेक्टेयर क्षेत्र को कवर किया गया, वहीं, तिलहन के लिए बुआई का क्षेत्र 84.14 लाख हेक्टेयर रहा. इस वर्ष दलहन में ग्राम की बुआई का क्षेत्र 77.84 लाख हेक्टेयर रहा, जो कि बीते वर्ष की समान अवधि में 75.16 लाख हेक्टेयर था. इसी तरह, उड़द दाल की बुआई का क्षेत्रफल इस वर्ष 1.84 लाख हेक्टेयर रहा, जबकि पिछले वर्ष की समान अवधि में यह 1.67 लाख हेक्टेयर था. श्री अन्ना एवं मोटे अनाज में रागी की बुआई का क्षेत्रफल इस वर्ष 0.64 लाख हेक्टेयर रहा, जो पिछले वर्ष की समान अवधि में 0.46 लाख हेक्टेयर था.
0.12 लाख हेक्टेयर रहा छोटे बाजरे बुआई का क्षेत्र
छोटे बाजरे बुआई का क्षेत्र 0.12 लाख हेक्टेयर रहा, जो कि बीते वर्ष की समान अवधि में 0.09 लाख हेक्टेयर था. मक्के की बुआई का क्षेत्र 11.41 लाख हेक्टेयर रहा, जो कि बीते वर्ष की समान अवधि में 11.05 लाख हेक्टेयर था. जौ की बुआई का क्षेत्रफल इस वर्ष 5.95 लाख हेक्टेयर रहा, जो पिछले वर्ष की समान अवधि में 5.68 लाख हेक्टेयर था. बुआई के क्षेत्र में इस वृद्धि से उत्पादन बढ़ने की संभावना है, जिससे किसानों की आय में सुधार होगा और खाद्य मुद्रास्फीति को नियंत्रित करने में भी मदद मिलेगी.