XChat App: टेस्ला के सीईओ और मशहूर उद्योगपति एलन मस्क (Elon Musk) ने इंस्टैंट मैसेजिंग प्लेटफॉर्म XChat लॉन्च किया है, जो WhatsApp की तरह ही एंड-टू-एंड एनक्रिप्शन, ऑटो डिलिटेड मैसेज और फाइल शेयरिंग फीचर्स से लैस है. ऐसे में मस्क का यह प्लेटफॉर्म मार्क जुकरबर्ग की टेंशन को बढ़ा सकता है, क्योंकि एक बार ये लोकप्रिय हो गया तो यह वाट्सऐप की बादशाहत की नींव हिला सकता है.
हालांकि, मस्क का यह इंस्टैंट मैसेजिंग प्लेटफॉर्म अभी बीटा वर्जन में है, जिससे कुछ सीमित यूजर्स ही इसे इस्तेमाल कर सकते है. लेकिन जल्द ही, इसके स्टेबल वर्जन रोल आउट किए जाने की उम्मीद है, जिसके बाद आम लोगों के लिए भी यह उपलब्ध होगा. फिलहाल, कंपनी की तरफ से इस प्लेटफॉर्म के लॉन्च डेट या टाइमलाइन का जिक्र नहीं किया गया है.
बिटकॉइन स्टाइल एनक्रिप्शन पर बनाया गया XChat
बता दें कि मस्क ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X हैंडल से इस इंस्टैंट मैसेजिंग प्लेटफॉर्म के बारे में घोषणा की है. उन्होंने अपने पोस्ट में लिखा कि ‘नए XChat को लॉन्च किया जा रहा है, जो एनक्रिप्शन, वैनिशिंग मैसेज और फाइल सेंड करने का ऑप्शन देता है. साथ ही इसके जरिए ऑडियो या वीडियो कॉलिंग भी की जा सकेगी. इसे बिटकॉइन स्टाइल एनक्रिप्शन पर बनाया गया है, जो पूरी तरह से एक नया आर्किटेक्चर है.’
WhatsApp को सीधी टक्कर
X प्लेटफॉर्म का यह एनक्रिप्शन फीचर वाला इंस्टैंट मैसेजिंग प्लेटफॉर्म सही मायने में Meta के WhatsApp को टक्कर देगा. दरअसल, Meta के CEO मार्क जुकरबर्ग अक्सर ये दावा करते है कि उनके इंस्टैंट मैसेजिंग प्लेटफॉर्म में एंड-टू-एंड एनक्रिप्शन की वजह से यूजर्स की प्राइवेसी सुरक्षित रहती है. ऐसे में अब एलन मस्क का यह नया प्लेटफॉर्म भी यूजर्स को यही सुविधा मुहैया कराएगा.
क्या है एंड-टू-एंड एनक्रिप्शन?
बता दें कि एंड-टू-एंड एनक्रिप्शन फीचर का मतलब है कि कोई भी मैसेज या कम्युनिकेशन सिर्फ सेंडर और रिसीवर के बीच ही रहेगा. इसे अन्य कोई डिकोड नहीं कर सकता है. हालांकि कई बार इस फीचर को लेकर सवाल भी उठाए गए है, लेकिन हर बार वाट्सऐप ने यह दावा किया है कि सेंडर के मैसेज भेजने के बाद वह एनक्रिप्टेड फॉर्म में आ जाता है. इसके बाद यह रिसीवर को डिक्रिप्ट होकर मिलता है. इस दौरान अगर कोई मैसेज एक्सेस भी करता है, तो भेजे गए मैसेज में क्या लिखा है वो पता नहीं चलता है और इसी के कारण एंड-टू-एंड एनक्रिप्शन कम्युनिकेशन को सिक्योर कहा जाता है.
बिटकॉइन लेवल एनक्रिप्शन का मतलब
वहीं, बिटकॉइन लेवल एनक्रिप्शन का मतलब है कि एंड-टू-एंड एनक्रिप्शन से भी ज्यादा सिक्योर होगा. आम तौर पर बिटकॉइन के लिए ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया जाता है, जिसे हैक करना लगभग नामुमकिन होता है. बता दें कि वाट्सऐप के अलावा टेलीग्राम और सिग्नल जैसे इंस्टैंट मैसेजिंग प्लेटफॉर्म भी एंड-टू-एंड एनक्रिप्शन फीचर देने का दावा करते हैं.
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