Washington: ट्रम्प ने पूर्व राष्ट्रपति जो बाइडेन की सरकार द्वारा लिए गए कम से कम 78 फैसले रद्द करके अमेरिका में विवादों की झड़ी लगा दी है. इन सब के अलावा राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प विभिन्न देशों पर टैरिफ बम फोड़ कर विवादों में घिरे हुए हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपना परम मित्र बताने वाले ट्रम्प ने भारत पर ही सर्वाधिक 50 प्रतिशत टैरिफ लगाया है. हालांकि ट्रम्प के इस कदम का भारत पर कोई विशेष प्रभाव नहीं पड़ा पर, ट्रम्प के इसी प्रकार के विवादास्पद कदमों से उनके अपने ही देश में उनका विरोध शुरू हो गया है.
भारत पर लगाए 25% का अतिरिक्त टैरिफ रद्द करने की मांग
अमरीका के हाऊस ऑफ रिप्रैजैंटेटिव्स के 3 सदस्यों डेबोरा रॉस, मार्क वेसी तथा राजा कृष्णमूर्ति ने 13 दिसम्बर को एक प्रस्ताव पेश करके 27 अगस्त को भारत पर लगाए 25 प्रतिशत का अतिरिक्त टैरिफ रद्द करने की मांग की है, जो कई भारतीय वस्तुओं पर बढ़ाकर 50 प्रतिशत कर दिया गया है. उक्त सांसदों ने इसे अमरीका की अर्थव्यवस्था के लिए खतरनाक बताया.
विभिन्न वस्तुओं की सप्लाई चेन बाधित
कहा कि ट्रम्प के इस फैसले से अमरीकी हितों को बढ़ावा देने की बजाय विभिन्न वस्तुओं की सप्लाई चेन बाधित हो रही है. उन्होंने कहा कि इससे अमरीकी कर्मचारियों को नुकसान हो रहा है. अमरीकी व्यवसाय चौपट हो रहा है तथा उपभोक्ता महंगे दाम पर चीजें खरीदने के लिए मजबूर हो रहे हैं. एक अन्य सांसद एमी बेरा ने इस मुद्दे को अमरीकी कांग्रेस में उठाते हुए ट्रम्प प्रशासन की कई नीतियों की आलोचना की है.
ट्रम्प टैरिफ भारत पर बेअसर
50 प्रतिशत का ट्रम्प टैरिफ भारत पर बेअसर सिद्ध हुआ है और नवम्बर में भारत की ओर से अमरीका को किया जाने वाला निर्यात 19 प्रतिशत बढ़कर 10 वर्ष के सबसे ऊंचे स्तर पर पहुंच गया है. डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा उठाए गए कदम उल्टे उन्हीं के देश के लिए भारी घाटे का सौदा सिद्ध होने लगे हैं.
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