प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज, 16 अक्टूबर को आंध्र प्रदेश के दौरे पर रहेंगे, जहां वे लगभग ₹13,430 करोड़ की विभिन्न विकास परियोजनाओं का उद्घाटन, शिलान्यास और राष्ट्र को समर्पित करेंगे. ये परियोजनाएं राज्य में बुनियादी ढांचे को मजबूत करने, औद्योगीकरण को बढ़ावा देने और समावेशी सामाजिक-आर्थिक विकास को गति देने की केंद्र सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाती हैं.
प्रधानमंत्री अपने दौरे की शुरुआत नंदयाल जिले के श्रीशैलम में स्थित प्रसिद्ध श्री भ्रामराम्बा मल्लिकार्जुन स्वामी वरला देवस्थानम में पूजा-अर्चना और दर्शन से करेंगे, जो देश के 12 ज्योतिर्लिंगों में शामिल है. इसके बाद वे श्री शिवाजी स्फूर्ति केंद्र का भ्रमण भी करेंगे.
कुरनूल में आयोजित होने वाले मुख्य कार्यक्रम में, पीएम मोदी उद्योग, बिजली पारेषण, सड़क, रेलवे, रक्षा विनिर्माण और पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस सहित कई महत्वपूर्ण क्षेत्रों की परियोजनाओं का अनावरण करेंगे.
प्रमुख परियोजनाएं:
बिजली पारेषण: ₹2,880 करोड़ से अधिक की लागत से कुरनूल-III पूलिंग स्टेशन पर ट्रांसमिशन सिस्टम को मजबूत करने के लिए 765 केवी डबल-सर्किट लाइन का शिलान्यास. यह परियोजना नवीकरणीय ऊर्जा के बड़े पैमाने पर पारेषण को सक्षम बनाएगी.
औद्योगिक गलियारे: कुरनूल में ओरवाकल औद्योगिक क्षेत्र और कडप्पा में कोप्पार्थी औद्योगिक क्षेत्र की आधारशिला रखी जाएगी. ₹4,920 करोड़ से अधिक के संयुक्त निवेश से ये औद्योगिक केंद्र लगभग ₹21,000 करोड़ का निवेश आकर्षित करने और एक लाख रोजगार सृजित करने की क्षमता रखते हैं.
सड़क और रेल: विशाखापत्तनम में भीड़ कम करने के लिए सब्बावरम से शीलनगर तक छह लेन के ग्रीनफील्ड राजमार्ग सहित ₹1,140 करोड़ की लागत से छह सड़क परियोजनाओं का उद्घाटन होगा. इसके अलावा, ₹1,200 करोड़ से अधिक की रेलवे परियोजनाओं का भी शिलान्यास और लोकार्पण किया जाएगा, जिनमें कोट्टवालसा-विजयनगरम चौथी रेलवे लाइन और पेंडुर्ती और सिम्हाचलम उत्तर के बीच रेल फ्लाईओवर शामिल हैं.
रक्षा विनिर्माण: ₹360 करोड़ की लागत से निर्मित भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (BEL) की उन्नत नाइट विजन प्रोडक्ट्स फैक्ट्री का उद्घाटन, जो सशस्त्र बलों के लिए उन्नत इलेक्ट्रो-ऑप्टिकल प्रणालियों का निर्माण करेगी, ‘आत्मनिर्भर भारत’ को बल प्रदान करेगा.
ऊर्जा क्षेत्र: लगभग ₹1,730 करोड़ की लागत से तैयार की गई गेल (GAIL) की श्रीकाकुलम–अंगुल प्राकृतिक गैस पाइपलाइन को राष्ट्र को समर्पित किया जाएगा. इसके साथ ही, चित्तूर में इंडियन ऑयल का ₹200 करोड़ की लागत से बना एलपीजी बॉटलिंग प्लांट भी कार्यशील किया जाएगा.