परोपकार और प्रभु सेवा में लगे हुए हाथ ही हैं भाग्यशाली: दिव्य मोरारी बापू 

Shivam
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)
Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, भागवत प्रसादी-दो हाथ- प्रभु ने दो हाथ सत्कर्म करने के लिए दिए हैं। जो हाथ परमात्मा की सेवा नहीं करते और परोपकार में संलग्न नहीं रहते, वे मुर्दे के हाथ के समान है। परोपकार और प्रभु सेवा में लगे हुए हाथ ही भाग्यशाली हैं।
सेवा-पूजा में भूल हो तो प्रभु क्षमा प्रदान करते हैं, किन्तु व्यवहार में भूल हो जाय तो लोग क्षमा नहीं करते। रोज रात को सोते समय अपने दोनों हाथों को पूँछ कर देखो,  ‘आज तुमने कोई सत्कर्म किया है?’ यदि हाथ ने सत्कर्म किया हो तो ही दूसरे दिन हाथ में भोजन का ग्रास देना, नहीं तो उपवास करना।
सत्कर्म किए बिना जो खाता है, वह पाप को ही खाता है। सभी हरि भक्तों को पुष्कर आश्रम एवं गोवर्धनधाम आश्रम से साधु संतों की शुभ मंगल कामना, श्री दिव्य घनश्याम धाम, श्री गोवर्धन धाम कॉलोनी, बड़ी परिक्रमा मार्ग, दानघाटी, गोवर्धन, जिला-मथुरा, (उत्तर-प्रदेश) श्री दिव्य मोरारी बापू धाम सेवा ट्रस्ट, गनाहेड़ा, पुष्कर जिला-अजमेर (राजस्थान).
Latest News

Shani Nakshatra Parivartan 2025: शनि का नक्षत्र परिवर्तन किन राशियों को देगा लाभ? जानिए

Shani Nakshatra Parivartan 2025: 3 अक्टूबर 2025 से शनि ग्रह, गुरु ग्रह के नक्षत्र ‘पूर्वाभाद्रपद’ में गोचर करने जा...

More Articles Like This

Exit mobile version