Sri Lanka Easter Sunday Attack: श्रीलंका के नए राष्ट्रपति दिसानायके का बड़़ा ऐलान, फिर शुरू होगा ईस्टर संडे टेरर अटैक की जांच

Shubham Tiwari
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Sub Editor The Printlines (Part of Bharat Express News Network)
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Sri Lanka Easter Sunday Attack: श्रीलंका में सत्ता बदलते ही एक बार फिर  ‘ईस्टर संडे’ का जिन्न सामने आ गया है. दरअसल, श्रीलंका के नव निर्वाचित राष्ट्रपति ने ‘ईस्टर संडे’ का मुद्दा फिर से उछाल दिया है. उन्होंने इस मामले की फिर से जांच कराने का ऐलान किया है. नव निर्वाचित राष्ट्रपति अनुरा कुमारा दिसानायके ने मंगलवार को कहा कि वह 2019 के ‘ईस्टर संडे’ आतंकवादी हमलों की फिर से जांच शुरू करेंगे.

बता दें कि श्रीलंका में 21 सितंबर को हुए राष्ट्रपति चुनाव में जीत के बाद दिसानायके ने 22 सितंबर को पदभार ग्रहण किया. उन्होंने राष्ट्रपति बनने के बाद कैथोलिक चर्च के चीफ मैल्कम कार्डिनल रंजीत से शिष्टाचार भेंट करते हुए यह टिप्पणी की. कार्डिनल रंजीत ने कहा, ‘नए राष्ट्रपति ने हमें आश्वासन दिया कि ईस्टर संडे के हमलों की सच्चाई सामने लाई जाएगी.

300 लोगों की हुई थी मौत

ज्ञात हो कि रंजीत ईस्टर संडे के दौरान स्टार-क्लास होटलों और चर्चों पर हुए हमलों की जांच के आलोचक रहे हैं, जिसमें विदेशी नागरिकों सहित करीब 300 लोगों की मौत हो गई थी. इस मामले के लिए दोनों पूर्व राष्ट्रपतियों गोटबाया राजपक्षे और रानिल विक्रमसिंघे पर आरोप लगाते हुए रंजीत ने जांच की आलोचना की थी और कहा था कि स्थानीय जिहादी संगठन नेशनल तौहीद जमात (एनटीजे) द्वारा किए गए हमलों को राजनीतिक रूप से छिपाने का प्रयास किया गया.

पहले की जांच में पूर्व राष्ट्रपति पाए गए थे दोषी

‘ईस्टर संडे’ केस में पूर्व राष्ट्रपति मैत्रिपाला सिरिसेना ने गिरजाघर के दबाव के कारण एक उच्च-स्तरीय जांच समिति गठित की थी. इसके बाद जांच में सिरिसेना को ही दोषी भी पाया गया था और उन्हें पीड़ितों के परिजन को 10 करोड़ सऊदी रियाल का मुआवजा देने का आदेश दिया गया. तत्कालीन रक्षा विभाग के शीर्ष अधिकारियों को भी भारत की ओर से दी गई पूर्व खुफिया चेतावनियों को नजरअंदाज करने के लिए आपराधिक लापरवाही का दोषी पाया गया.

बता दें कि श्रीलंका में 21 अप्रैल, 2019 को हुए इन सिलसिलेवार आतंकी बम विस्फोटों में कुल 300 लोग मारे गए, जिनमें 45 विदेशी नागरिक, 11 भारतीय नागरिक और तीन पुलिस अधिकारी शामिल थे.

(भाषा)

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