भारत की अर्थव्यवस्था की विकास दर FY24-25 की चौथी तिमाही में 6.8-7% के बीच रह सकती है. इसकी वजह कृषि क्षेत्र का अच्छा प्रदर्शन करना है. बैंक ऑफ बड़ौदा की शुक्रवार को जारी हुई रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है. पूरे वित्त वर्ष के लिए विकास दर 6.2% से लेकर 6.4% के बीच रहने का अनुमान है. रिपोर्ट में बताया गया कि भारत की अर्थव्यवस्था उसके वैश्विक समकक्षों के मुकाबले अच्छा प्रदर्शन जारी रखेगी.
इसकी वजह मजबूत आधार होना है. रिपोर्ट के मुताबिक, FY26 में वृद्धि दर 6.4-6.6% के समान स्तर पर रह सकती है. रिपोर्ट में कहा गया है कि वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में कृषि क्षेत्र में 7.7% की मजबूत वृद्धि की उम्मीद है. यह FY24 की चौथी तिमाही में दर्ज 0.9% की वृद्धि की तुलना में काफी अधिक वृद्धि होगी. इसकी वजह खाद्यान्न के उत्पादन में रिकॉर्ड वृद्धि होना है. FY25 की चौथी तिमाही में विकास दर तीसरी तिमाही से अधिक रहने का अनुमान है.
सेक्टर्स की ग्रोथ में असमानता रह सकती है. कुछ सेक्टर्स बहुत अच्छा प्रदर्शन कर सकते हैं. वहीं, कुछ सेक्टर्स का प्रदर्शन नरम रह सकता है. खनन क्षेत्र की वृद्धि दर वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही (Q4) में 1.5% रहने का अनुमान है, जो कि पिछले वर्ष की समान अवधि में 0.8% थी. दूसरी ओर विनिर्माण क्षेत्र में वृद्धि घटकर 1.8% रहने की संभावना है. यह वित्त वर्ष 24 की चौथी तिमाही में 11.3% थी. यह आंशिक रूप से प्रतिकूल आधार और कमजोर कॉर्पोरेट आय के कारण है. बिजली क्षेत्र की वृद्धि दर वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में 5.5% रहने का अनुमान है, जो कि पिछले वर्ष की समान अवधि में 8.8% थी.
रिपोर्ट में बताया गया कि वित्त वर्ष 26 में अच्छे मानसून के कारण ग्रामीण मांग में उछाल देखने को मिल सकता है. इसके अतिरिक्त नई टैक्स रिजीम में इनकम टैक्स छूट बढ़ने के कारण उपभोक्ता खपत में इजाफा हो सकता है. रिपोर्ट के मुताबिक, वित्त वर्ष 26 में कम होती महंगाई दर से वृद्धि दर को बढ़ावा मिलेगा और कमोडिटी की कम कीमतों से विकास दर को सपोर्ट मिलेगा.