शक्ति और बुद्धि के सदुपयोग से परमात्मा हो जाते हैं प्राप्त: दिव्य मोरारी बापू

Shivam
Shivam
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)
Must Read
Shivam
Shivam
Reporter The Printlines (Part of Bharat Express News Network)
Puskar/Rajasthan: परम पूज्य संत श्री दिव्य मोरारी बापू ने कहा, श्रीमद्भागवतमहापुराण में कथा आती है कि पांच नृत्यांगनाओं ने दुराचारी धुंधकारी का धन लूट लिया और बाद में मार डाला। धुंधकारी को प्रेत योनि प्राप्त हुई। उसके उद्धार के लिए गोकर्ण ने सात दिनों तक भागवत श्रवण कराया। कथा स्थल पर बंधे हुए बांस की एक-एक गांठ खुलती गई और सातवें दिन अंतिम गांठ के खुलते ही धुंधकारी का उद्धार हुआ।
यह धुंधकारी पांच नृत्यांगना रूपी विषयों में फंसा हुआ जीव है। ये पांचो विषय मनुष्य का आत्मधन लूट लेते हैं और धुंधकारी के समान इसकी दुर्गति कर देते हैं। फिर वासनाओं में फंसा हुआ जीव प्रेतयोनि को प्राप्त करता है।जीव को सात वासना की गांठे बांधे रहती हैं। पति या पत्नी, पुत्र, धंधा, परिवार, पैसा, पद और प्रतिष्ठा – ये सात वासना की गांठे हैं।
इन गांठों को काटना नहीं है, मात्र विवेक से खोलना है। इसके लिए प्रेम से प्रभु का नाम जप करो और जीवन को भगवद्मय बनाओ। धीरे-धीरे गांठे अपने आप खुलती जाएँगी। शक्ति और बुद्धि के सदुपयोग से पैसा तो क्या, परमात्मा भी प्राप्त हो जाते हैं। सभी हरि भक्तों को पुष्कर आश्रम एवं गोवर्धनधाम आश्रम से साधु संतों की शुभ मंगल कामना।
Latest News

Gold Silver Price Today: दिवाली पर नहीं बदले सोने-चांदी के भाव, जानिए ताजा रेट

Gold Silver Price Today: आज दिवाली का त्योहार है. ऐसे में अगर आप सोने चांदी की खरीदारी करने की...

More Articles Like This