मांसपेशियों के लिए वरदान से कम नहीं नटराजासन, जानिए करने का तरीका

Divya Rai
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Content Writer The Printlines (Part of Bharat Express News Network)
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Natarajasana Benefits: योग हमारे जीवन का एक अहम हिस्सा है, जो ना सिर्फ शरीर को स्वस्थ बनाता है बल्कि मन को भी शांति और संतुलन देता है. योग के कई आसन होते हैं, जिनमें से ‘नटराजासन’ एक खास और प्राचीन मुद्रा है. इसे डांसर पोज भी कहा जाता है क्योंकि इस आसन में शरीर की स्थिति बिल्कुल नृत्य की तरह लगती है. नटराजासन शरीर के संतुलन को सुधारने में मदद करता है और हड्डियों व मांसपेशियों को मजबूत बनाता है.

आजकल ज्यादातर लोगों को शरीर के अलग-अलग हिस्सों में दर्द या मांसपेशियों की तकलीफ होती है, जिसका एक बड़ा कारण गलत बैठना या चलना होता है. नटराजासन के नियमित अभ्यास से ऐसे दर्द और तकलीफों में काफी आराम मिलता है. यह आसन भगवान शिव की नटराज मुद्रा से प्रेरित है, जो न केवल शरीर को संतुलित करता है, बल्कि मानसिक रूप से भी स्थिरता और शांति देता है.

शरीर के लिए बहुत लाभकारी है नटराजासन

आयुष मंत्रालय (मध्य प्रदेश) की ऑफिशियल वेबसाइट में इसे करने का तरीका और फायदों के बारे में विस्तार से बताया गया है. नटराजासन योग करने से पूरे शरीर में ब्लड फ्लो बेहतर होता है. जब रक्त सही तरीके से पूरे शरीर में पहुंचता है, तो शरीर के अंग अच्छे से काम करते हैं और हमें ज्यादा ऊर्जा मिलती है. साथ ही, इससे हृदय भी मजबूत होता है और थकान कम होती है. बेहतर ब्लड फ्लो से त्वचा भी स्वस्थ और चमकदार दिखती है. इसलिए नटराजासन जैसे योगासन करना शरीर के लिए बहुत लाभकारी होता है.

चिंता और घबराहट होती है दूर

इस योग को करने से तनाव कम होता है और मन को शांति मिलती है. जब हम यह आसन करते हैं, तो हमारा शरीर और दिमाग दोनों रिलैक्स होते हैं. इससे चिंता और घबराहट दूर होती है. योग की यह मुद्रा हमें अंदर से मजबूत और खुश महसूस कराती है. रोजाना नटराजासन करने से हम अपने मन को नियंत्रित कर पाते हैं और अच्छा महसूस करते हैं. नटराजासन योग रीढ़ की हड्डी को लचीला बनाता है. जब हम इस आसन को करते हैं, तो हमारी पीठ की मांसपेशियां और हड्डियां मजबूत होती हैं. इससे रीढ़ की हड्डी ठीक से काम करती है और कमर दर्द जैसी समस्याएं कम होती हैं. यह आसन पीठ की मांसपेशियों को आराम देता है. रोजाना इसका अभ्यास करने से हमारी रीढ़ की हड्डी मजबूत और स्वस्थ रहती है, जिससे हम आसानी से चल-फिर सकते हैं और अच्छा महसूस करते हैं.

ध्यान लगाने की बढ़ती है शक्ति

इसके अलावा, इस योग को करने से ध्यान लगाने की शक्ति बढ़ती है. जब हम इस आसन में संतुलन बनाते हैं, तो हमारा मन एक जगह टिक जाता है और भटकता नहीं है. इससे हमारी सोच साफ होती है और हम किसी काम पर ज्यादा ध्यान दे पाते हैं. रोजाना नटराजासन करने से मन शांत रहता है. इससे पढ़ाई या किसी भी काम में फोकस बढ़ता है.

क्या है करने का सही तरीका

नटराजासन का अभ्यास करने के लिए सबसे पहले आप किसी साफ और समतल जगह पर खड़े हो जाएं. कोशिश करें कि आप ऐसा स्थान चुनें जहां आपको संतुलन बनाने में आसानी हो. अब अपने शरीर को आराम दें और गहरी सांस लें. इसके बाद धीरे-धीरे दायें पैर को पीछे की ओर मोड़ें और हाथ से उस पैर के टखने को पकड़ लें. जब पैर को पकड़ लें तो उसे ऊपर की ओर उठाने की कोशिश करें. इस दौरान बाएं हाथ को सामने सीधा फैलाएं ताकि आप अपने शरीर का संतुलन बनाए रख सकें. इस स्थिति में जितना हो सके स्थिर रहें और गहरी सांस लेते रहें. लगभग 15 से 20 सेकंड तक इसी स्थिति में रहने के बाद धीरे-धीरे पैर छोड़ें और सामान्य स्थिति में वापस आ जाएं. अब इसी प्रक्रिया को दूसरे पैर से दोहराएं.

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